Manish Sisodia, Deputy Chief Minister of Delhi, was arrested in a case of violating liquor excise policy on February 26 by CBI. Since then, he kept on writing from jail raising questions on PM education and how it affects the education system and growth of the economy.
This time in poetry form, Manish Sisodia again wrote the letter addressing the nation, which was posted on Twitter by Delhi chief minister Arvind Kejriwal.
Letter reads as:
अगर, हर गरीब को मिली किताब
तो, नफरत की ओधी कौन फैलाएगा.
सबके हाथों को मिल गया काम,
तो सड़कों पर तलवारें कौन लहराएगा.
अगर पढ़ गया, हर गरीब का बच्चा
तो चौथी पास राजा का, राजमहल हिल जाएगा.
अगर हर किसी को मिल गई अच्छी शिक्षा और समझ,
तो इनका whatsapp का विश्वविद्यालय बंद हो जाएगा.
पढ़े लिखे और समझदारी की बुनियाद पर खड़े समाज को,
कोई कैसे, कौमी नफरत के माया जाल में फंसाएगा.
अगर पढ़ गया एक-एक गरीब का बच्चा
तो चौथी पास राजा का राजमहल हिल जाएगा.
अगर पढ़ गया समाज का हर बच्चा,
तो तुम्हारी चालाकियों और कुनीतियों पे सवाल उठाएगा.
अगर गरीब को मिली कलम की ताकत,
तो वो अपने ‘मन की बात’ सुनाएगा.
अगर पढ़ गया एक एक गरीब का बच्चा,
तो चौथी पास राजा का, राजमहल हिल जाएगा.
दिल्ली और पंजाब के स्कूलों में हो रहा शंखनाद.
पूरे भारत में अच्छे शिक्षा की अलख जगाएगा.
जेल भेजो या फाँसी दे दो, ये कारवां रक नहीं पाएगा,
अगर पढ़ गया हर गरीब का बच्चा, राजमहल तुम्हारा दिन जाएगा.
– मनीष सिसोदिया
A glimpse of previous written letters and issues raised:
“For the progress of India, it is necessary to have an educated PM,” Sisodia writes in his letter to the PM.
“बीजेपी लोगों को जेल में डालने की राजनीति करती है, हम बच्चों को पढ़ाने की राजनीति कर रहे हैं। जेल भेजना आसान है, बच्चों को पढ़ाना बहुत मुश्किल। राष्ट्र शिक्षा से आगे बढ़ेगा, जेल भेजने से नहीं।“
However, when the second letter appeared on social media, netizens started questioning different handwritings, and whether these letters were written by Sisodia only. Supreme Court lawyer Shashank Shekhar Jha also posted images of both letters on Twitter.
Anyhow, people reacted to his letters and questioned his education too: